नई दिल्ली: राजस्थान के भरतपुर में जहरीली शराब से मौत के मामले सामने आ रहे हैं. जिले के रूपवास क्षेत्र में हुई घटना ने अब तक सात घरों के चिराग बुझा दिए. मृतकों की संख्या सात हो गई है. वहीं इस शराब का सेवन करने वाले अन्य 2 लोगों की हालत भी गंभीर बनी हुई है. जानकारी के अनुसार, रूपवास इलाके के चक सामरी गांव में जहरीली शराब पीने से बुधवार को चार लोगों की मौत हो गई थी, वहीं पांच लोग गंभीर रूप से बीमार हो गए.
इन पांचों को जिला चिकित्सालय में भर्ती कराया गया था, वहां बुधवार देर रात से लेकर गुरुवार को तड़के तक तीन और लोगों की मौत हो गई. सरकार ने इस मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए दर्जनभर से ज्यादा अधिकारियों को निलंबित कर दिया है.
जानकारी के अनुसार, चक सामरी गांव में बुधवार को दोपहर में जहरीली शराब का सेवन करने वाले लोगों को उसके कुछ देर बाद ही उल्टियां होने लगी और सिर चकराने लगा था. उसके बाद चार की मौत हो गई थी. शेष पांच की हालत बिगड़ने के साथ ही उनकी आंखों की रोशनी चली गई. उनमें से तीन और पीड़ितों ने दम तोड़ दिया है. पुलिस ने इस मामले में नकली शराब बेचने वाले 2 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं रूपवास क्षेत्र के आसपास के 16 शराब के ठेकों और गोदामों को सील कर दिया गया है.
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भरतपुर शराब दुखांतिका पर गहरा दुख व्यक्त किया है. उपचाररत पीड़ितों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना करते हुए उनके समुचित उपचार के लिए प्रशासन को निर्देश दिये हैं. मुख्यमंत्री ने इस दुखांतिका के कारणों एवं सम्पूर्ण परिस्थितियों की जांच संभागीय आयुक्त, भरतपुर से करवाने के निर्देश दे दिए हैं.
मुख्यमंत्री ने आबकारी, प्रवर्तन (आबकारी), प्रशासन एवं पुलिस के संबंधित अधिकारियों के खिलाफ भी कार्यवाही का निर्णय लिया है. भरतपुर के जिला आबकारी अधिकारी, सहायक आबकारी अधिकारी एवं एन्फोर्समेंट ऑफिसर राकेश शर्मा, बयाना आबकारी थाने के पेट्रोलिंग ऑफिसर रेवत सिंह राठौड, बयाना आबकारी निरीक्षक योगेन्द्र सिंह को निलम्बित करने, रूपवास में आबकारी एन्फोर्समेंट थाने के सम्पूर्ण स्टाफ को निलम्बित करने, पुलिस स्टेशन रूपवास के सहायक उप निरीक्षक मोहन सिंह व दो अन्य पुलिसकर्मी जिनमें बीट इंचार्ज एवं बीट कांस्टेबल शामिल हैं, को भी निलम्बित करने के निर्देश दिये हैं.
उन्होंने एसडीएम रूपवास श्री ललित मीणा को एपीओ करने के भी निर्देश दिए हैं. इस दुखांतिका में मृतकों के परिजनों को 2-2 लाख रूपये तथा अन्य पीड़ितों को 50-50 हजार की आर्थिक सहायता देने का निर्णय लिया गया है. साथ ही मुख्यमंत्री ने भरतपुर सहित प्रदेश के सभी सीमावर्ती व अवैध शराब संभावित क्षेत्रों में अविलम्ब सघन अभियान चलाकर अवैध शराब की रोकथाम एवं इसमें लिप्त व्यक्तियों के विरूद्ध अत्यंत कठोर कार्यवाही किये जाने के निर्देश दिए हैं.