Delhi Latest Update : दिल्ली के डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया के गिरफ़्तारी के बाद से दिल्ली की सियासत में भूचाल जारी है। 28 फ़रवरी को सिसोदिया और सत्येंद्र जैन के भेजे गए इस्तीफ़े को एलजी ने खारीज कर दिया है।
दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने इस्तीफों को अस्वीकार करने के साथ ही दोनों से विभागों की जिम्मेदारी ले ली है। उपराज्यपाल के दफ्तर से इस्तीफा अस्वीकार करने की वजहें भी बताई हैं।
एलजी दफ़्तर ने ये वजह बताई
एलजी के दफ्तर से जो वजहें बताई गईं हैं उनमें सिसोदिया के इस्तीफे पर तारीख न लिखा होना कहा जा रहा है। बताया गया कि मनीष सिसोदिया का इस्तीफा बिना डेट का है और सत्येंद्र जैन का 27 फरवरी को लिखा गया है। दोनों ही इस्तीफे एलजी को 28 फरवरी को भेजे गए।
कहा जा रहा है कि सिसोदिया ने ये इस्तीफा जेल से तो टाइप नहीं किया होगा। तो क्या उन्होंने यह सीबीआई की पूछताछ पर जाने से पहले ही लिख दिया था। क्या जैन का प्लेन और हस्तलिखित इस्तीफा उसके बाद लिया गया है?
अगर सिसोदिया ने पहले ही इस्तीफा दे दिया था और जैन ने 27 को दिया तो इस्तीफे की घोषणा इतनी देर से क्यों हुई?
5 दिन के लिए CBI रिमांड में
CBI ने उन्हें सोमवार को राउज एवेन्यू कोर्ट में पेश किया था। कोर्ट ने सिसोदिया को 5 दिन की CBI हिरासत में भेज दिया है।
CBI ने मनीष सिसोदिया से पूछताछ शुरू कर दी है। CBI ने सिसोदिया के लिए सवालों की लंबी लिस्ट तैयार की है। बताया जा रहा है कि CBI नए सिरे से पूछताछ करेगी। पिछली पूछताछ के दौरान वे जिन सवालों के जवाब देने से बचे थे, उनसे ये सवाल फिर से पूछे जाएंगे।
नई आबकारी नीति क्या थी?
दिल्ली में केजरीवाल सरकार ने 17 नवंबर 2021 को नई आबकारी नीति लागू की थी। दिल्ली सरकार ने नई एक्साइज पॉलिसी लाने को लेकर माफिया राज खत्म करने का तर्क दिया था। जुलाई 2022 में दिल्ली के तत्कालीन मुख्य सचिव ने इस मामले में एलजी वीके सक्सेना को रिपोर्ट सौंपी थी।
इसमें एक्साइज पॉलिसी में गड़बड़ी के साथ ही डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया पर शराब कारोबारियों को अनुचित लाभ पहुंचाने का भी आरोप लगा था।
इसी रिपोर्ट के आधार पर CBI ने 17 अगस्त 2022 को मामला दर्ज किया था। रविवार को इसी मामले में CBI ने सिसोदिया को गिरफ्तार कर लिया।
CBI ने बताया था कि नई आबकारी नीति में कथित अनियमितताओं के मामले की जांच के लिए उपमुख्यमंत्री और प्रभारी आबकारी मंत्री व 14 अन्य के खिलाफ केस दर्ज किया गया था।
डिप्टी सीएम को 19 फरवरी 2023 को जांच में सहयोग करने के लिए सीआरपीसी की धारा 41-A के तहत नोटिस जारी किया गया था।
हालांकि उन्होंने व्यस्तता का हवाला देते हुए एक सप्ताह का समय मांगा। उनके अनुरोध पर फिर नोटिस जारी किया गया।
हालांकि, इस दौरान उन्होंने टालमटोल भरे जवाब दिए और जांच में सहयोग नहीं किया। इसलिए उन्हें गिरफ्तार किया गया है।
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